वेलेंटाइन डे स्पेशल: मेमो के प्यार की कहानी, जानिए 14 फरवरी क्यों होता है मेमो के लिए खास

14 फरवरी का नाम सुनते ही सबकी ज़हन में प्यार, मोहब्बत की तस्वीर सामने आ जाती है। क्योंकि पूरे विश्व में इस दिन को वेलेनटाइंस डे के रूप में मनाया जाता है। फरवरी महीने के शुरू होते ही सभी प्रेमीजोड़े इस दिन का बेसब्री से इंतज़ार करने लगते हैं और इसको मनाने की तैयारियां शुरू कर देते हैं। प्यार के कद्रदानों के लिए भी ये महीना व्यस्तताओं से भरा होता है क्योंकि इस महीने में अधिकांश दिन प्यार करने वालों के लिए प्यार के इज़हार और प्रस्ताव देने के रूप में मानाया जाता हैं। इस दिन जन्मे लोगों के लिए ये दिन और भी खास हो जाता है। आपको बता दें कि जेएफसी के स्टार खिलाड़ी मेमो का जन्म भी इसी दिन हुआ था। तो चलिए आज मेमो की प्यार की कहानी आप सबके साथ साझा करते हैं।

आपको बता दें कि जमशेदपुर एफसी की ओर से खेल रहे स्टार खिलाड़ी मेमो का जन्म 14 फरवरी को हुआ था। इस बार उनके लिए ये वेलेनटाइन डे और खास होने वाला है, क्योंकि इस बार उनकी पत्‍‌नी वनेसा भी साथ रहेंगी। इस प्रेमकहानी की शुरूआत तब हुई जब मेमो वनेसा के भाई के साथ सांता क्रुज क्लब में फुटबॉल खेलते थे। अप्रैल का महीना था साल 2008 का चल रहा था तब पहली बार वनेसा अपने भाई के साथ मैच देखने आई थीं। मेमो बताते हैं कि पहली ही नज़र में वो वनेसा को दिल दे बैठे। उसके बाद मेमो ने एक दिन वनेसा को बताया कि वो उनसे पहले दिन से ही प्यार करने लगे हैं। मेमो ने बताया की जब वो वनेसा के सामने अपनी दिल की बात रख रह थे तब उनके दिल की धड़कन ऐसे धड़क रही थी जैसे कब बाहर आ जाएगी।

वनेसा ने पहले तो उनको मना कर दिया लेकिन मेमों ने दोबारा अपनी बात रखी। मेमो जब दूसरी बार वनेसा से बात करने गए तो उन्होंने बताया कि उनकी कोई प्रेमिका नहीं है और वो अभी भी सिंगल है। जिसके जवाब में वनेसा ने उनको कहा कि ठीक है आज से तुम सिंगल नहीं हो और उनके प्यार को कबूल कर लिया। इसके बाद दोनों एक साल तक एक दूसरे को डेट करते रहे। मेमो को उनके परिवार से भी बहुत सपोर्ट मिला। उन्होंने वनेसा से मिलने के लिए कभी भी मेमो को मना नहीं किया।

अपने प्यार की कहानी पर चर्चा करते हुए मेमो ने बताया कि अपनी प्रेमिका वनेसा से मिलने के लिए वो 600 किमी का सफर तय करते थे। चूंकि वनेसा ब्राजील के बुनितो में रहती थी और मेमो का घर फेरा डे संतानो में है। संतानो से बुनितो की दूरी 600 किलोमीटर है। मेमो ने बताया कि वनेसा का भाई उनके साथ ही खेलता था और वो दोनों इतने करीबी दोस्त बन गए थे कि कई बार वो मेमो के घर पर ही रुक जाता था। इसी दौरान खेल के मैदान में ही उनकी मुलाकात वनेसा से हुई। मेमो ने एक बड़ी ही मजेदार बात का खुलासा किया कि शादी के बाद उन्होंने पहली बार वनेसा को किस किया था।

अपने प्रेम कहानी को सुनाते हुए मेमो ने कहा कि शादी से पहले जब भी वनेसा गुस्सा होती थीं तो वो फोन पर उन्हें मनाने के लिए किस किया करते थे। लेकिन अगर बात इससे भी नहीं बनती थी तो मेमो कोई ना कोई उपहार भेज देते थे और इसकी सूचना भी दे देते थे। जिसके बाद फिर से बात शुरू हो जाती थी। मेमो ने बताया कि शादी के बाद भी उनके झगड़े चलते रहते थे लेकिन वो सिर्फ प्यार में नोकझोंक जैसा हुआ करता था। वनेसा जब ज्यादा गुस्सा होती थीं तो मेमो चुप हो जाया करते थे, और अगले दिन से फिर से दोनों में बात शुरू हो जाती थी। मेमो ने कुछ सवालों के जवाब ऐसे दिए जिसने सबका दिल जीत लिया। जब उसने पूछा गया कि वो फैमली और फुटबॉल में से सबसे ज्यादा किसे प्यार करते हैं तो उन्होंने कहा कि जितना प्यार वो फुटबॉल से करते हैं उतना ही प्यार वो अपनी फैमली से करते हैं।

मेमो की पत्‍‌नी वनेसा बताती हैं कि जब मेमो दिल्ली डायनामोज के साथ वर्ष 2016 में जुड़े तो वो भारत आ गए। इस दौरान वो तीन महीने तक उनसे दूर रहीं। ये सब उन्हें बहुत बुरा लगता था। जिसके बाद वनेसा को भी भारत आने का मौका मिल गया। वनेसा ने बताया कि जब उनके पति खेलने के लिए बाहर जाते हैं तो वो अपने बच्चों के साथ खुशी से रहती हैं। हालाकि शादी से पहले वनेसा को फुटबॉल पसंद नहीं था, लेकिन पति के फुटबॉलर होने बाद धीरे-धीरे वनेसा फुटबॉल देखने लगीं। मेमो ने बताया कि वो 22 नंबर की जर्सी इसिलिए पहनते हैं क्योंकि उनकी शादी 22 दिसंबर 2011 को हुई थी। जमशेदपुर फुटबाल क्लब की ओर से खेलते हुए मेमो 22 नंबर की जर्सी पहनते हैं तो उन्हें लगता है कि वो अपनी पत्नि के करीब हैं।

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